गृहमंत्री बाबूलाल गौर ने कहा कि, ''लोग कहते हैं कि राजधानी में मुसलमान आतंकवादी हैं और यहां पर खतरा है, लेकिन मैं कहता हूं कि राजधानी का एक भी मुसलमान आतंकवादी नहीं है. यहां के मुसलमान देशभक्त हैं.''
गृहमंत्री गौर ने आतंकवाद के ऊपर यह बयान भोपाल के हिंदी भवन में आयोजित मध्यप्रदेश उर्दू अकादमी और ऑल इंडिया उर्दू राब्ता कमेटी के संयुक्त कार्यक्रम में दिया. प्रदेश १८ की रिपोर्ट के अनुसार गौर ने कहा कि, ''मेरे इस बयान पर सरकार के एक बड़े पुलिस अफसर ने कहा कि ये बयान ठीक नहीं है. मैंने अफसर को जवाब दिया कि आप अपनी बात रखें और अपनी पहरेदारी लगाएं. मैं भोपाल की तरफ से गारंटी लेता हूं. मैं यहां पर पचास सालों से राजनीति कर रहा हूं. भोपाल के लोगों ने कभी भी एक कंकड़ नहीं लगाया, जबकि मैंने हजारों लोगों के मकान और दुकानें तोड़ दिए. मेरी बात सुनकर पुलिस अफसर बहुत शर्मिंदा हुए.''
साथ ही बाबूलाल गौर ने एक बार फिर से भोपाल को देश की राजधानी बनाने की बात कही और भोपाल को शांति का शहर बताया, जबकि दिल्ली को कुरूक्षेत्र का हिस्सा बताया, जहां युद्ध होते रहते हैं.
दरअसल, यह बयान बाबूलाल गौर ने उस संदर्भ में दिया है जब उन्होंने मुख्यमंत्री सुंदरलाल पटवा शासन काल में मंत्री रहते हुए शहरों के सौंदर्यीकरण के लिए अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाया था. उस दौरान कड़े विरोध के बावजूद भोपाल की मुस्लिम बहुत आबादी वाले इलाके में गौर के निर्देश पर कई मकान-दुकान जमीनदोज कर दिए गए थे. इसी के चलते कुछ लोग बाबूलाल गौर को 'बुल्जडोर मंत्री'के नाम से भी संबोधित करने लगे थे.
-फाइल फोटो